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Monday, December 24, 2012

धडकनें जब धड़कना छोड़ देंगी,
उम्मीदें सरे राह दम तोड़ देंगी,
तब भी दिल में तेरी आरजू होगी ,
खुली आँखें ,इंतजार का राज खोल देंगी |
डॉ अ कीर्तिवर्धन
8265821800

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