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Saturday, March 9, 2013

chudion ka khanakanaa

आधी रात को उनके बहुपास में खुद को समाना ,
मुश्किल है धड़कते हुए जज्बात पर काबू पाना ।
बढ़ती हुई धड़कनें ,मेरे जिस्म को धड़का जाती हैं,
प्यार का अहसास है उस पल ,चूड़ियों का खनकना ।
डॉ अ कीर्तिवर्धन
8265821800

1 comment:

  1. महाशिवरात्रि की हार्दिक शुभकामनाएँ !सुन्दर प्रस्तुति.

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