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Sunday, June 16, 2013

loot lo ji bhar yahan

लूट लो जी भर यहाँ , यह सियासतों का दौर है,
हिन्दू -मुस्लिम का लहू ,अलग अलग ,यह शोर है ।
कीमतें इंसान की हैं , धर्म पर आधारित यहाँ  ,
कोई तरसता न्याय को ,कहीं सत्ता चरण धोती यहाँ ।

डॉ अ  कीर्तिवर्धन

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